कोरोना वायरस संक्रमण के खिलाफ लड़ाई में भारत को एक और हथियार मिल गया है। केंद्र सरकार ने शनिवार को जॉनसन एंड जॉनसन के एक खुराक वाले कोविड-19 रोधी टीके के आपात इस्तेमाल को इजाजत दे दी है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने खुद ट्वीट करके इसकी जानकारी दी है।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने ट्वीट में लिखा, ‘भारत ने अपनी वैक्सीन बास्केट का विस्तार किया है! जॉनसन एंड जॉनसन की सिंगल डोज खुराक वाली कोरोना वैक्सीन को भारत में आपातकालीन उपयोग के लिए मंजूरी दी गई है। अब भारत के पास 5 कोरोना टीके हैं। यह हमारे देश की कोरोना वायरस के खिलाफ सामूहिक लड़ाई को और बढ़ावा देगा।’
भारत में टीके को मंजूरी दिए जाने पर कंपनी की तरह से भी प्रतिक्रिया आई है। जॉनसन एंड जॉनसन कंपनी ने भारत सरकार के इस फैसले पर खुशी जताई है। कंपनी के प्रवक्ता ने कहा कि, ‘हमें यह घोषणा करते हुए प्रसन्नता हो रही है कि 7 अगस्त 2021 को भारत सरकार ने भारत में जॉनसन एंड जॉनसन कोविड सिंगल डोज वैक्सीन के लिए आपातकालीन उपयोग प्राधिकरण (ईयूए) जारी किया है, ताकि 18 वर्ष और उससे अधिक उम्र के व्यक्तियों में कोरोना को रोका जा सके।’
जॉनसन एंड जॉनसन अमेरिकी कंपनी है। कंपनी ने अपने टीके के इमरजेंसी इस्तेमाल की मंजूरी के लिए शुक्रवार को आवेदन दिया था। भारत के औषधि महानियंत्रक (डीसीजीआई) ने उसी दिन उसे मंजूरी दे दी। गौरतलब है कि इससे पहले सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया की कोविशील्ड, भारत बायोटेक की कोवैक्सीन रूस की स्पूतनिक वी और मॉडर्ना को मंजूरी मिल चुकी है। अब जॉनसन एंड जॉनसन की वैक्सीन को मंजूरी के बाद इसकी संख्या बढ़कर 5 हो गई है।
अगली पंक्ति में ‘कोवोवैक्स’ का नाम
भारत में अगली पंक्ति में ‘कोवोवैक्स’ वैक्सीन का नाम है। गुरुवार को ही अमेरिका स्थित जैव प्रौद्योगिकी फर्म नोवावैक्स ने भारत के ड्रग्स कंट्रोलर जनरल (डीसीजीआई) से पहली प्रोटीन-आधारित कोविड वैक्सीन ‘कोवोवैक्स’ के आपातकालीन उपयोग के लिए मंजूरी मांगी है। बता दें कि जून में नोवावैक्स के भारतीय साझेदार सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने इस वैक्सीन के पहले बैच का उत्पादन शुरू किया था। यह वैक्सीन अमेरिकी कंपनी नोवावैक्स और भारत की सीरम इंस्टीट्यूट के साथ साझेदारी के माध्यम से तैयार की गई है।